ट्रेड यूनियन एवं साम्यवादी दल क्या है || What is trade union and communist party

ट्रेड यूनियन, किसी खास उद्योग या पेशे से जुड़े श्रमिकों का संगठित समूह होता है, जो बेहतर वेतन, काम करने की बेहतर स्थिति और श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा के लिए सामूहिक रूप से कार्य करता है।

उद्देश्य:

  • बेहतर वेतन और भत्ते: ट्रेड यूनियनें सामूहिक सौदेबाजी के माध्यम से अपने सदस्यों के लिए बेहतर वेतन, भत्ते और अन्य सुविधाएं प्राप्त करने का प्रयास करती हैं।
  • काम करने की बेहतर स्थिति: वे सुरक्षित और स्वस्थ काम करने की स्थिति, उचित कार्य घंटे और breaks आदि सुनिश्चित करने के लिए काम करती हैं।
  • श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा: वे उत्पीड़न, भेदभाव और अनुचित बर्खास्तगी से श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा करती हैं।
  • सामाजिक सुरक्षा: वे सामाजिक सुरक्षा लाभ जैसे स्वास्थ्य बीमा, पेंशन और बेरोजगारी लाभ प्राप्त करने में भी मदद करती हैं।

कार्यप्रणाली:

  • ट्रेड यूनियनें सदस्यता शुल्क जमा करती हैं, जिसका उपयोग वे अपनी गतिविधियों को चलाने के लिए करती हैं।
  • वे विभिन्न मुद्दों पर जागरूकता बढ़ाने और समर्थन जुटाने के लिए रैलियों, प्रदर्शनों और हड़तालों का आयोजन करती हैं।
  • वे सरकार और नियोक्ताओं के साथ सामूहिक सौदेबाजी करती हैं।
  • वे श्रमिकों को कानूनी सहायता और सलाह प्रदान करती हैं।

भारत में ट्रेड यूनियन:

भारत में कई ट्रेड यूनियनें हैं, जिनमें से कुछ प्रमुख हैं:

  • भारतीय राष्ट्रीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस (INTUC)
  • भारतीय ट्रेड यूनियनों का केंद्र (CITU)
  • अखिल भारतीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस (AITUC)
  • भारतीय मजदूर संघ (BMS)

साम्यवादी दल:

परिभाषा:

साम्यवादी दल, वे राजनीतिक दल होते हैं जो साम्यवाद की विचारधारा का पालन करते हैं। साम्यवाद एक सामाजिक-आर्थिक व्यवस्था है जिसमें उत्पादन के साधन सामूहिक स्वामित्व में होते हैं और वर्ग, धन और राज्य का अस्तित्व समाप्त हो जाता है।

उद्देश्य:

  • समाज में समानता स्थापित करना: साम्यवादी दल वर्गहीन समाज की स्थापना करना चाहते हैं, जहाँ सभी लोगों को समान अवसर और समानता प्राप्त हो।
  • शोषण का अंत: वे पूंजीवाद द्वारा किए गए शोषण का अंत करना चाहते हैं, जहाँ पूंजीपति श्रमिकों का शोषण करते हैं।
  • सामूहिक स्वामित्व: वे उत्पादन के साधनों का सामूहिक स्वामित्व चाहते हैं, ताकि सभी लोगों को लाभ मिल सके।

कार्यप्रणाली:

  • साम्यवादी दल चुनाव लड़कर सत्ता हासिल करने का प्रयास करते हैं।
  • वे सामाजिक और आर्थिक मुद्दों पर जागरूकता बढ़ाने और समर्थन जुटाने के लिए रैलियों, प्रदर्शनों और हड़तालों का आयोजन करते हैं।
  • वे सरकारों की नीतियों को प्रभावित करने के लिए लॉबिंग करते हैं।

भारत में साम्यवादी दल:

भारत में कई साम्यवादी दल हैं, जिनमें से कुछ प्रमुख हैं:

  • भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा)
  • भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) (भाकपा (मा))
  • क्रांतिकारी समाजवादी पार्टी (आरएसपी)
  • जनता दल (लोकतांत्रिक)

ट्रेड यूनियन और साम्यवादी दलों के बीच संबंध:

ट्रेड यूनियन और साम्यवादी दलों के बीच अक्सर घनिष्ठ संबंध होते हैं।

  • ऐतिहासिक संबंध: कई ट्रेड यूनियनों की स्थापना साम्यवादी नेताओं द्वारा की गई थी और वे पारंपरिक रूप

ट्रेड यूनियन और साम्यवादी दल: मुख्य बिंदु

  • वर्ष 1890 में गठित भारत का प्रथम मजदूर संगठन बॉम्बे मिल हैन्ड्स की स्थापना एन एम लोखण्डे ने किया था।
  • वर्ष 1918 में अहमदाबाद टेक्सटाइल लेबर एसोसिएशन की स्थापना महात्मा गॉधी के द्वारा किया गया था।
  • गॉधी जी ने अहमदाबाद टेक्सटाइल लेबर एसोसिएशन से ट्रस्टीशिप का सिद्वान्त प्रतिपादित किया इसके अनुसार पूॅजीपति मजदूरों के हितों की रक्षा करने वाला ट्रस्टी होता है न कि मालिक होता है।
  • ऑल इण्डिया ट्रेड यूनियन कांग्रेस की स्थापना 1920 ई बम्बई में हुआ था।
  • ऑल इण्डिया ट्रेड युनियन कांग्रेस के संस्थापक एन एम जोशी थे।
  • लाला लाजपत राय आल इण्डिया ट्रेड युनियन कांग्रेस के प्रथम अध्यक्ष थे।
  • वर्ष 1929 में नागपुर में सम्पन्न ऑल इडिया ट्रेड युनियन कांग्रेस की अध्यक्षता जवाहरलाल नेहरू के किया था।
  • मई, 1947 में स्थापित इडियन नेशनल ट्रेड युनियन कांग्रेस की प्रथम अध्यक्षता वल्लभ भाई पटेल के द्वारा किया गया था।
  • रूस में कम्युनिस्ट इंटरलेशनल की स्थापना मार्च 1919 में हुआ था

प्रमुख कारखाना अधिनियम

कारखाना अधिनियम गवर्नर जनरल
कारखाना अधिनियम (1881) लॉर्ड रिपन
कारखाना अधिनियम (1891)लॉड लैंसडाउन
कारखाना अधिनियम (1911) लॉर्ड हार्डिग II
कारखाना अधिनियम (1922)लॉर्ड रीडिंग
कारखाना अधिनियम (1934) लॉर्ड विलिंग्टन
कारखाना अधिनियम (1944) लॉर्ड वेवेल
  • सन् 1923 में भारत में सर्वप्रथम 1 मई मजदूर दिवस मनाया गया जो भारत में मजदूरों की बढ़ती हुई राजनीतिक चेतना का सुचक था।
  • कम्युनिस्ट इंटरनेशनल के सदस्य बनने वाला प्रथम भारतीय मानवेन्द्र नाथ राय थे।
  • एम एन राय के सहयोग से ताशकन्द में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की स्थापना 17 अक्टूबर,1920 में हुआ था।
  • पहली साम्यवादी कान्फ्रेस का आयोजन कानपुर 26 दिसम्बर,1925 में किया गया था।
  • कानपुर षड्यंत्र मुकदमा वर्ष 1924 में ब्रिटिश सरकार द्वारा साम्यवादी आन्दोलन के नेताओं के विरूद्व चलाया गया था?
  • वर्ष 1940 में रेडिकल डेमोक्रेटिक पार्टी की स्थापना एम एन राय द्वारा किया गया था।
  • क्रांतिकारी साम्यवादी दल की स्थापना वर्ष 1934 में सौम्येंद्रनाथ टैगोर द्वारा की गई।
  • वर्ष 1939 में भारतीय बोल्शेविक पार्टी की स्थापना एन दत मजूमदार द्वारा किया गया था

ब्रिटिश भारत में गठित महत्वपूर्ण आयोग

आयोग (वर्ष) गवर्नर जनरल सम्बंध
फेजर आयोग (1902) लॉर्ड कर्जन पुलिस सुधार
हंटर आयोग (1919)
लॉर्ड चेम्सफोर्ड
पंजाब अशांति
बटलर आयोग (1927)लॉर्ड इर्विनभारतीय रियासतों के साथ संबंध
मैक्सवेल-ब्लूमफील्ड (1928)लॉर्ड इर्विनबारदोली में लगान वृद्वि की जांच
हिृटले आयोग (1929) लॉर्ड इर्विन श्रम
क्लाइड आयोग (1940) लिनलिथगोंतेभागा आन्दोलन
सप्रू आयोग (1935)लॉर्ड विलिगटन बेरोगारी
लिनलिथगों आयोग (1928)लॉर्ड इर्विन भूमि सुधार

भारत में औद्योगिक कार्यशालाओं व बगीचों में श्रम की स्थिति में सुधार हेतु हिृटले आयोग का गठन किया गया था।

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