History of Bihar || बिहार का इतिहास

बिहार भारत का एक प्रमुख राज्य है, जो देश के पूर्वी हिस्से में स्थित है। यह गंगा नदी के किनारे बसा है और इसका इतिहास और संस्कृति अत्यंत समृद्ध है। बिहार की राजधानी पटना है, जो प्राचीन काल में पाटलिपुत्र के नाम से जानी जाती थी। राज्य की सीमाएं उत्तर में नेपाल से, पूर्व में पश्चिम बंगाल से, दक्षिण में झारखंड से और पश्चिम में उत्तर प्रदेश से मिलती हैं।

  • वैदिक युग में नाम – प्राच्य या पूर्व प्रदेश
  • मौर्य एवं गुप्त काल में नाम – मगध
  • स्थापना – 22 मार्च
  • प्रथम विभाजन – उड़ीसा से 1936
  • राज्य की राजधानी – पटना (स्थापना 1541 ई)
  • पटना का प्राचीन नाम – पाटलिपुत्र
  • भौगोलिक स्थिति – –24°2010” से 27°3115” उत्तरी अंक्षाश तथा 83°19’50” से 88°17’40”
  • बिहार का सम्पूर्ण भू-भाग स्थित है – उतरी गोलार्द्व में
  • मुख्यमंत्री – नीतिश कुमार
  • गवर्नर – राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर
  • लोकसभा कि सीटें – 40
  • राज्यसभा सीटें – 16
  • विधानसभा सीटें – 243
  • जिलें – 38
  • प्रमुख जनजातियाँ – संथाल, उरांव, रजवार आदि
  • राज्य का सर्वाधिक ऊँचा शिखर – सोमेश्वर (875मी)
  • भारत के कुल क्षेत्रफल का हिस्सा – 2.86 प्रतिशत
  • बिहार का क्षेत्रफल – 94,163 वर्ग किमी.
  • ग्रमीण क्षेत्रफल – 92,358.40 वर्ग किमी.
  • नगरीय क्षेत्रफल – 1,804.60 किमी.
  • सबसे बड़ा जिला क्षेत्रफल – पश्चिमी चम्पारण
  • सबसे छोटा जिला क्षेत्रफल – शिवहर
  • बिहार मे वन क्षेत्र – 7305.99 वर्ग किमी.
  • बिहार मे वन क्षेत्र प्रतिशत – 7.76 प्रतिशत
  • प्रमुख नदियाँ – गंगा, कोसी, बागमत, सोन , पुनपुन, फलगु, गंडक, घाघरा, कर्मनाशा इत्यादि।
  • प्रमुख खाद्यान – चावल
  • प्रमुख खद्यान फसल – धान, गेहू मक्का, जौ इत्यादि।
  • प्रमुख नगदी फसल – गन्ना,तम्बाकू,आलू,पटसन इत्यादि।
  • राज्य का प्रमुख औद्योगिक शहर – बेगूसराय
  • प्रमुख खनिजसोना – (मुंगेर-करमाटिया क्षेत्र), टिन – (गया,) लीथियम (गया) , चीनी मिटी – (मुंगेर) , अभ्रक – (गया,मुंगेर,भागलपुर), गंधक– (कैमूर पहाड़ियाँ ) डोलोमाइट – (भाजपूर), कोयला– (भागलपूर) इत्यादि।
  • चीनी मिलो की संख्या – 28 11 क्रियाशील
  • उतर से दक्षिण लंबाई – 345 किमी.
  • पूर्व से पश्चिम चौड़ाई – 483 किमी.
  • समुद्र तल से औसत ऊँचाई – 173 फीट (लगभग 53 मीटर)
  • बिहार का लिंगानुपात – 918

बिहार का इतिहास

बिहार का इतिहास अत्यंत प्राचीन और गौरवशाली है, जिसने भारतीय सभ्यता के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इसे कई प्रमुख कालखंडों में विभाजित किया जा सकता है:

1. प्राचीन काल

मगध साम्राज्य (6ठी शताब्दी ई.पू. – 4ठी शताब्दी ई.पू.):
बिहार का प्राचीन नाम “मगध” था, जो 16 महाजनपदों में से एक था। यह क्षेत्र वर्तमान पटना और गया के आसपास स्थित था। मगध साम्राज्य ने भारतीय इतिहास में अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जहां से बौद्ध धर्म और जैन धर्म का उदय हुआ।

  • बिम्बिसार और उनके पुत्र अजातशत्रु के शासनकाल में मगध का साम्राज्य शक्तिशाली हुआ। अजातशत्रु ने वैशाली और अन्य पड़ोसी राज्यों को जीतकर मगध का विस्तार किया।

2. मौर्य साम्राज्य (4ठी शताब्दी ई.पू. – 2री शताब्दी ई.पू.)

सम्राट चंद्रगुप्त मौर्य ने मगध को मौर्य साम्राज्य का केंद्र बनाया, जिसकी राजधानी पाटलिपुत्र (वर्तमान पटना) थी। चाणक्य (कौटिल्य) ने चंद्रगुप्त मौर्य को सम्राट बनने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

  • सम्राट अशोक (272 ई.पू. – 232 ई.पू.) ने मौर्य साम्राज्य को उसके चरम पर पहुँचाया। कलिंग युद्ध के बाद अशोक ने बौद्ध धर्म की दीक्षा ली और अहिंसा व शांति के संदेश का प्रचार किया। उनके शासनकाल में बिहार बौद्ध धर्म का केंद्र बना और कई बौद्ध स्तूपों का निर्माण हुआ।

3. गुप्त साम्राज्य (4ठी शताब्दी – 6ठी शताब्दी)

गुप्त साम्राज्य का केंद्र भी बिहार था, जिसे भारत का “स्वर्ण युग” कहा जाता है।

  • सम्राट चंद्रगुप्त प्रथम और समुद्रगुप्त के शासनकाल में विज्ञान, कला, साहित्य और गणित का उत्कर्ष हुआ। इस दौरान आर्यभट्ट, कालिदास जैसे महान विद्वानों का जन्म हुआ। नालंदा विश्वविद्यालय की स्थापना भी इसी काल में हुई, जो प्राचीन विश्व का सबसे बड़ा शिक्षा केंद्र था।

4. मध्यकाल

मध्यकाल में बिहार मुस्लिम शासन के अधीन आ गया।

  • शेर शाह सूरी, जो बिहार के ही सासाराम से थे, ने मुगलों को हराकर दिल्ली पर कब्जा कर लिया और अपना सूरी साम्राज्य स्थापित किया। उन्होंने आधुनिक प्रशासनिक व्यवस्था, सड़कों का निर्माण (ग्रांड ट्रंक रोड), और डाक व्यवस्था में सुधार किए।
  • मुगल शासन के दौरान भी बिहार एक महत्वपूर्ण क्षेत्र रहा, खासकर अकबर के शासनकाल में।

5. औपनिवेशिक काल (18वीं शताब्दी – 20वीं शताब्दी)

18वीं शताब्दी में ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी ने बिहार पर नियंत्रण कर लिया। बिहार ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में अहम भूमिका निभाई।

  • 1857 का विद्रोह: बिहार के बाबू कुंवर सिंह ने अंग्रेजों के खिलाफ विद्रोह का नेतृत्व किया और वीरता का प्रदर्शन किया।
  • चंपारण सत्याग्रह (1917): महात्मा गांधी ने बिहार के चंपारण में नील किसानों के अधिकारों के लिए सत्याग्रह किया, जो भारतीय स्वतंत्रता संग्राम का महत्वपूर्ण मोड़ बना।

6. स्वतंत्रता के बाद

1947 में भारत की स्वतंत्रता के बाद बिहार ने भारत की राजनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। यहाँ से कई प्रमुख राजनेता और सामाजिक सुधारक उभरे, जिनमें जयप्रकाश नारायण, डॉ. राजेन्द्र प्रसाद (भारत के पहले राष्ट्रपति), और कर्पूरी ठाकुर शामिल हैं। 2000 में, बिहार के दक्षिणी हिस्से को विभाजित करके झारखंड राज्य बनाया गया।

  1. इतिहास: बिहार का इतिहास प्राचीन और गौरवशाली है। यह मौर्य और गुप्त साम्राज्यों का केंद्र रहा है, और यहीं से सम्राट अशोक, चाणक्य और अन्य प्रमुख ऐतिहासिक व्यक्तियों ने विश्व को प्रभावित किया।
  2. शिक्षा: प्राचीन काल में बिहार शिक्षा का प्रमुख केंद्र था। नालंदा और विक्रमशिला विश्वविद्यालय विश्व प्रसिद्ध थे।
  3. भाषा: बिहार में मुख्य रूप से हिंदी और भोजपुरी बोली जाती है। इसके अलावा मैथिली, मगही, और अंगिका भी लोकप्रिय भाषाएं हैं।
  4. संस्कृति: बिहार की लोक संस्कृति अत्यंत विविधतापूर्ण है। छठ पूजा, होली, दिवाली और अन्य त्योहार यहां बड़े धूमधाम से मनाए जाते हैं।
  5. आधुनिक विकास: बिहार एक कृषि प्रधान राज्य है, और यहां चावल, गेहूं, गन्ना, मक्का, और दलहन की प्रमुख फसलें उगाई जाती हैं। पिछले कुछ वर्षों में राज्य में औद्योगिक और बुनियादी ढांचा विकास की दिशा में भी प्रयास हो रहे हैं।

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